नई दिल्ली। ग्रीन इंडिस्ट्रियल रेवोल्यूशन के अंतर्गत ब्रिटेन (Britain) वर्ष 2030 से डीजल और पेट्रोल की कारों की बिक्री (Petrol and Diesel vehicle sales) पर प्रतिबंध लगाएगा. यह ब्रिटेन की 10 बिंदुओं के प्लान का हिस्सा है जिसका खुलासा ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन (Prime Minister Boris Johnson) ने बुधवार को किया.
ब्रिटिश पीएम ने इस महत्वाकांक्षी योजना के लिए 12 बिलियन पाउंड की राशि तय की है, उम्मीद है कि इससे दो लाख 50 हजार नए रोजगार पैदा होंगे और इस योजना के फलस्वरूप वर्ष 2050 तक ब्रिटेन को कार्बन मुक्त करने का लक्ष्य हासिल किया जा सकेगा.
प्रस्ताव में पवन ऊर्जा के उत्पादन को चार गुना तक बढ़ाने और उद्योग, परिवहन, ऊर्जा और घरों के लिए हाइड्रोजन के उत्पादन की क्षमता को बढ़ाने का प्रावधान भी रखा गया है. पब्लिक ट्रांसपोर्ट में ‘शून्य कार्बन उत्सर्जन’ के लिए भी निवेश का प्रावधान किया गया है. प्लेन्स और शिप्स के लिए भी ऐसी ही योजना है. इसके साथ ही साइकिलिंग और वॉकिंग को प्रोत्साहित करने के उपायों पर भी ध्यान दिया जाएगा.
सरकार बड़े और छोटे स्तर के न्यूक्लियर प्लांट के विकास और नए एडवांस्ड मॉड्युलर रिएक्टर के लिए 525 मिलियन पाउंड की राशि खर्च करेगी. हालांकि उसका यह कदम पर्यावरणविदों को नाखुश कर सकता है. पीएम जॉनसन को उम्मीद है कि इस महत्वाकांक्षी प्रस्ताव से ब्रिटेन की क्षेत्रीय असमानता को कम करने और कोरोना महामारी के कारण हुए आर्थिक नुकसान को कुछ हद तक कम करने में मदद मिलेगी.